Parwah Shayari In Hindi We are sharing the latest collection of Parwah Ki Shayari with Images. Find the best नई परवाह शायरी इन हिंदी Photos, Messages, Quotes, Status, Videos on our blog. Feel free to Download and share them on WhatsApp, Facebook, Instagram.
Parwah Shayari
काश तुम्हारी आग बुझा पाता मैं, |
काश तुम्हारी आग बुझा पाता मैं, काश तुम्हारे दाग मिटा पाता मैं, करनी न पड़ती परवाह ज़माने की, काश इतनी हिम्मत जुटा पाता मैं।

दुनिया भूल गया मैं तुझको याद करते करते, |
दुनिया भूल गया मैं तुझको याद करते करते, और तु मुझे भूल गई निया कि परवाह करते करते।

ये फालतू की अफवाह मेरे अंदर फैलाओ ही मत, |
ये फालतू की अफवाह मेरे अंदर फैलाओ ही मत, किसको मेरी कितनी परवाह है पता है मुझे तुम बताओ मत।

कर न कुछ ऐसा कि ज़माना करे तुम पर सवालात, |
कर न कुछ ऐसा कि ज़माना करे तुम पर सवालात, खुद की परवाह नहीं बस फिक्रमंद हैं तेरे ख़ातिर मेरे जज़्बात।

न मुझे वाह-वाह चाहिए, |
न मुझे वाह-वाह चाहिए, न किसी के ख्यालों में पनाह चाहिए, "कैसी हो" बस यही दो शब्द की परवाह चाहिए।

बेपरवाह शायरी
मत करो परवाह अब तुम कोई रहबर ढूँढ़ लो, |
मत करो परवाह अब तुम कोई रहबर ढूँढ़ लो, स्वतंत्र तुमको कर दिया है मुझसे बेहतर ढूंढ लो।

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हम उनकी मोहब्बत में ज़रा बेपरवाह क्या हो गये, |
हम उनकी मोहब्बत में ज़रा बेपरवाह क्या हो गये, वो हमें इल्ज़ाम-ए-लापरवाह दे गये।

कौन करता है यहां परवाह दिले-नादान की, |
कौन करता है यहां परवाह दिले-नादान की, तोड़ना दिल एक रवायत आज है इंसान की।

ख़्वाहिशें हमारी सारी गिरवी रख लो तुम, |
ख़्वाहिशें हमारी सारी गिरवी रख लो तुम, परवाह कर हमारी,बस ये शौक पूरी कर दो तुम।

यह भी पढ़े :-
मेरा दिल टूटा है मैं नहीं, |
मेरा दिल टूटा है मैं नहीं, तुम मुझे छोड़ दो अब इस बात की मुझे कोई परवाह नहीं।

परवाह शायरी इन हिंदी
वो मेरी परवाह नहीं करते, |
वो मेरी परवाह नहीं करते, मुझे इस बात की परवाह नही, परवाह इस बात की है कि, वो मेरी परवाह को परवाह नहीं समझते।

हम दोनों बस ये गुनाह करते हैं, |
हम दोनों बस ये गुनाह करते हैं, आज भी एक दूसरे की परवाह करते हैं।

परवाह करते करते थक सा गया हूँ, |
परवाह करते करते थक सा गया हूँ, जब से बेपरवाह हुआ हूँ, तब से आराम सा हैं।

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जो कभी भी मेरा परवाह नहीं करती थी, |
जो कभी भी मेरा परवाह नहीं करती थी, आज मेरे बेपरवाह होने पर परेशान है।

बेपरवाह थी ज़िन्दगी जब तक तुम साथ थे, |
बेपरवाह थी ज़िन्दगी जब तक तुम साथ थे, तुम क्या गए अब सोचते है उस बेपरवाही में कितनी परवाह थी।

Shayari on Parwah
यूँ तो न किसी से शिकायत है न ही कोई गिले शिकवे, |
यूँ तो न किसी से शिकायत है न ही कोई गिले शिकवे, बस दर्द इस बात का है कि उनको हमारी परवाह नहीं।

यह भी पढ़े :-
जमाना कुछ भी कहें उसकी परवाह ना कर, |
जमाना कुछ भी कहें उसकी परवाह ना कर, जिसे ज़मीर ना माने उसे सलाम ना कर।

मसला ये नहीं है कि गम कितना है, |
मसला ये नहीं है कि गम कितना है, मुद्दा तो ये है कि परवाह किसको है।

तलब और मदहोशी मे गुजर गई ये जिंदगी , |
तलब और मदहोशी मे गुजर गई ये जिंदगी , साथ क्या जायेगा किसी को इसकी परवाह नही।

मोहब्बत का कोई तराजू नहीं होता, |
मोहब्बत का कोई तराजू नहीं होता, परवाह बताती है कि प्यार कितना है।

Parwah Shayari in hindi
अगर मैं दूसरों की तरह |
अगर मैं दूसरों की तरह मोहब्बत में दिखावा नहीं करता, तो ये मत सोच की मैं तेरी दिल से परवाह ही नहीं करता।

आप अपनी समझ रखते हैं, |
आप अपनी समझ रखते हैं, मैं अपना मिजाज रखता हूँ, आप सही समझें या गलत, मैं अब परवाह नहीं करता हूँ।

हौसले की दुकान हूं मैं, |
हौसले की दुकान हूं मैं, अपनी नजर में महान हूं मैं, दुनिया क्या कहती है मुझें परवाह नहीं, इस धरती का गुलिस्तान हूं मैं।

मुझे नहीं परवाह सफ़र में और मुश्किलें क्या होंगी, |
मुझे नहीं परवाह सफ़र में और मुश्किलें क्या होंगी, बस एक तुम मेरी परछाई बनकर साथ चलते रहना।

अगर मेरे हालातों से कुछ |
अगर मेरे हालातों से कुछ मन में बुरा ख़याल आ जाता है, तो परवाह ना करना मुझे अपनी हद में रहना आता है।

Parwah Shayari Status
मैं भी कितना पागल हूं, |
मैं भी कितना पागल हूं, उससे प्यार करता हूं, जिसको मेरी परवाह ही नहीं।

जिंदगी में हर जज़्बात शब्दों में बयान नहीं किया जा सकता, |
जिंदगी में हर जज़्बात शब्दों में बयान नहीं किया जा सकता, कुछ जज़्बात किसी की परवाह में अपने आप झलक जाते हैं।

मतलबी सिर्फ मैं नहीं सारा जहाँ है, |
मतलबी सिर्फ मैं नहीं सारा जहाँ है, फिक्र और परवाह किसी को किसी की भी कहाँ है।

हजारों गीत हैं मेरे जहन में, |
हजारों गीत हैं मेरे जहन में, मगर एक खास तराना ढूंढ रहा हूँ, जहाँ परवाह हो मेरी किसी को, वो एक ठिकाना ढूंढ रहा हूँ।

अपने जज्बातों को मैंने उस मुकाम पे ला रखा है, |
अपने जज्बातों को मैंने उस मुकाम पे ला रखा है, जहां परवाह नहीं मुझे कि मेरी बात कौन करता हैं।

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